Thursday, February 23, 2012

साल 2011 आ मिथिलांगन - संजय चैधरी


आई ई कहैत हमरा बहुत गर्व भ’ रहल अछि जे साल 2011 मिथिलांगनक साल रहल। जनवरी सँ ल’ क’ दिसम्बर तक यदि मिथिलांगनक गतिविधि पर एक दृष्टि दैत छी, त’ पूरा साल संस्था के व्यस्तता बुझना जाइत अछि। बहुत रास चर्चा भ’ चुकल अछि तै अहिठाम हम चर्चा कर’ चाहै छी मिथिलांगनक मात्र तीन टा कार्यक्रमक।
पहिल: ”मणिपद्म जयंती समारोह“ के अवसर पर भेल ”मैथिली कवि गोष्ठी“ के, जे दिनांक 11.09.2011 (रविदिन) दिल्ली राजघाट स्थित गांधी दर्शन के ”सत्याग्रह मंडप“ सभागार मे सफलता पूर्वक सम्पन्न भेल। एहि कवि गोष्ठी के सबसँ पैघ विशेषता ई छल, जे दिल्ली मे स्वतंत्र रूप सँ आयोजित ई पहिल ”मैथिली कवि गोष्ठी“ छल। ई दिन मिथिलांगनक लेल ऐतिहासिक दिन, आ ई कवि गोष्ठी ऐतिहासिक कवि गोष्ठी छल। अहि सँ पहिने सेहो दिल्ली मे मैथिली कवि गोष्ठी होईत छल, मुदा हमेशा कोनो ने कोनो दोसर भाषाक संग सम्मिलित भ’ क’। कवि गोष्ठी के संयोजन कर’ बला छलैथ श्री रविन्द्र लाल दास ‘सुमन’ जी, जे स्वयं मिथिलांगनक एकटा नीक स्थापित कवि छईथ। गोष्ठी मे तीन पीढ़ी के कवि लोकनि के अद्भुत सामंजस बैसायल गेल छल। अनुभवी पीढ़ी मे जत’ श्री रविन्द्र नाथ ठाकुर, डा0 ललित कुमुद, शेफालिका वर्मा आ श्री शारदा नन्द ‘परिमल’ सन ज्येष्ठ कवि छलाह, ओहि ठाम हुनका सँ नव पीढ़ी मे स्वयं सुमन जी, कुमार शैलेंद्र आ मानवर्धन कंठ एहन मधुर रचनाकार सेहो विराजमान छलाह। गोष्ठी मे नव-नव छटा पसारि रहल छलैथ, उदीयमान कवि एवं कवियत्री लोकनि जेना कि विनीत उत्पल, किशन कारीगर, रमण कुमार सिंह, विनीता मल्लिक, सुश्री स्तुति नारायण। गोष्ठी मे एकटा नव, अद्भुत आ बहुत नीक परंपरा के उदय सेहो देखबा मे आयल। ई नव परंपरा छल ! सुप्रसिद्ध कवि श्री ब्रह्मदेव लाल दास जी के अस्वस्थता के कारण, हुनक अनुपस्थिति मे, हुनकर काव्य रचना के पाठ केलनि हुनक छोटकी पुतौह सरिता दास जी, जकर प्रशंसा दर्शकगण खूब केलनि। एहि कवि गोष्ठीक प्रशंसा प्रसिद्ध साहित्यकार श्री गंगेश गुंजन जी सेहो केलनि, आ कहलनि जे ई गोष्ठी मिथिलांगनक एकटा बहुत पैघ उपलब्धि अछि। गोष्ठीक अध्यक्षता केने छलैथ डा0 ललित  कुमुद जी। सक्षम मंच संचालन केने रहैथ कुमार शैलेंद्र। एहि मैथिली कवि गोष्ठीक चर्चा चारू कात मैथिली साहित्य जगत मे भ’ रहल अछि ।
दोसर: दिल्ली सरकार द्वारा 16.10.2011(रविदिन) के  आयोजित ”लोक उत्सव“ मे मिथिलांगन द्वारा प्रस्तुत मैथिली नाटक ”छुतहा घैल“ क’ मंचन। अहि कार्यक्रमक संयोजक छल मैथिली भोजपुरी अकादमी (दिल्ली)। श्री महेन्द्र मलंगिया लिखित एहि नाटकक निर्देशक छलैथ संजय चैधरी। ताल कटोरा स्टेडियम स्थित सुरताल ओपेन एयर थिएटर मे अहि नाटकक छटा देखैत बनई छल। खचाखच भरल दर्शकदीर्घा कलाकार लोकनिक उत्साह के अदम्य उठान द’ रहल छल। नाटकक सफलता अहि बात सँ लगायल जा सकैत अछि जे, दर्शकगण के कहब छलन्हि जे दिल्ली मे आई तक एहन नीक आ सफल नाटक नहि देखने छलौंह। नाटक मे भूमिका निभेने छलैथ कुमार शैलेंद्र, कल्पना मिश्रा, राजेश कर्ण, मुकेश दत्त, पूजा श्री, अंजली झा, संजीव कुमार ‘बिट्टू’, आशुतोष प्रतिहस्त, मृत्युंजय, भव्य, चैतन्य, अनुज एवं अन्य। संगीत देने छलैथ सुंदरम्। स्वर देने छलखिन्ह सुंदरम्, राखी दास, रूपम मिश्रा एवं संतोषी कर्ण। रूप सज्जा छल दुष्यंत के, वस्त्र विन्यास अभय चैधरी। प्रकाश परिकल्पना, मंच परिकल्पना, दृश्य परिकल्पना एवं निर्देशन छल संजय चैधरी के। नाटक खतम भेला पर अकादमी के सचिव रविन्द्र नाथ श्रीवास्तव नाटकक सफलतम प्रस्तुति के लेल पूरा मिथिलांगन टीम के बधाई देलनि। मिथिलांगन के ई गौरवपूर्ण उपलब्धि अछि, जे मैथिली-भोजपुरी अकादमी एहन रायकीय संस्था पिछला चारि बेर सँ लगातार अपन कार्यक्रम लेल मिथिलांगन के आमंत्रित क’ रहल अछि।
तेसर: 06.11.2011(रविदिन) मिथिलांगन द्वारा आयोजित ”निःशुल्क नेत्र जांच शिविर“ संस्था के सामाजिक सरोकार के दिशा मे एकटा मीलक पाथर बनल। नेत्र शिविर के संयोजक छलैथ स्वयं संस्था के सचिव श्री अभय कुमार लाल दास जी। भोर सँ सांझ धरि लोकक तांता लागल छल। नेत्र शिविर आयोजित भेल छल मिथिलांगनक कार्यस्थल ”देवेश्वरी“ भवन मे। पहिल बेर भेल एहि कार्यक्रमक सफलता के देखि मिथिलांगनक कार्यकर्ता लोकनि अति उत्साहित छैथ। शिविर मे नेत्र जांच, चश्मा, दवाई, लेंसक संग जरूरतमन्द मरीज़ के लेल वचमतंजपवद के सबटा मुफ्त व्यवस्था छल। शिविर समाप्त भेला पर ज्ञात भेल जे लगभग दू सौ साठि (260) व्यक्ति के जांच कयल गेल जाहि मे सात गोट के सफल लेंस युक्त मोतियाबिंद के आॅपरेशन आओर एक सौ चैदह (114) गोट के चश्मा संस्था दिस सँ प्रदान कयल गेल। बाँकी लोक के जांच क’ दवाई देल गेलनि। किछु लोकक नेत्र सामान्य स्थिति मे सेहो छलन्हि। सफल आयोजन के लेल सचिव सब कार्यकर्ता लोकनि के धन्यवाद देलन्हि।
एहि तरहें मिथिलांगन अपन नामक अनुरुप साल 2011 मे साहित्यिक, सांस्कृतिक एवं सामाजिक दायित्वक निर्वाह सफलता पूर्वक केलक ।

साभार मिथिलंगन गृह पत्रिका - अंक दिसम्बर 2011

Wednesday, April 15, 2009



सब मिथिलावासी के

मैथिल नव वर्षक हार्दिक बधाई

जय मैथिल जय मिथिला

Monday, March 9, 2009

मिथिलांगनक पिछला नाटक

फेर स मिथिलांगनक प्रस्तुति सबहक मन के झकजोइर देलकै

सबके सोचई पर मजबूर क देलकै की

'किम्कर्तव्यविमुढ'
मैथिली-भोजपुरी अकादमी, दिल्ली सरकार
द्वारा आयोजित
लेखक : रोहिणी रमन झा
निर्देशक : संजय चौधरी
संगीत : श्री सुन्दरम
गायक : श्री सुंदरम एवं राखी दास
प्रकाश परिकल्पना : कुमार शैलेंद्र
अप्पन विचार आ सुझाव देवक लेल तथा नाटकक सीडी के लेल
संपर्क करू
9312301160, 9810450229, ९९११३६४२१२
अप्पन सुझाव एवं विचार कमेंट्स के द्वारा सेहो भेज सकई छि

Thursday, September 11, 2008

कोशी में आयल बाढ़ स पीड़ित बिहार

बाढ़ स डुबल रोड आ गाव सब

जल्दी प्रस्तुत

Friday, August 22, 2008

मिथिलांगनक सुपरहिट मैथिलि हास्य नाटक 'उगना हाल्ट'

'सोन मछरिया' 'नैका बनिजारा'
के जोरदार सफलता के बाद मिथिलांगन प्रस्तुत केलक
मणिपद्म जयंती समारोह के शुभ अवसर पर
7 सितम्बर 2008, रविवार,
श्री राम सेंटर, मंडी हाउस, दिल्ली में
सुपरहिट मैथिलि हास्य नाटक
"उगना हाल्ट"
लेखक : कुमार शैलेन्द्र
संगीत : श्री सुंदरम
निर्देशक : संजय चौधरी
अगर एही नाटक के देखावाक फेर स इक्षा रखैछी ता
एही के सीडी के लेल तथा अहि वास्ते
बेसी जानकारी के लेल संपर्क करू
9312301160, 9810450229, 9911364212